Pune, 12th October 2024: बोपदेव घाट सामूहिक बलात्कार (Bopdev Ghat Gang Rape Accused) मामले में हालिया घटनाक्रम में, अदालत ने आरोपियों को 15 अक्टूबर तक पुलिस हिरासत में रखने का आदेश दिया है। इस अवधि के दौरान, पुलिस आरोपियों की मेडिकल जांच (Medical Checkup) और डीएनए परीक्षण (DNA Test) कराने की योजना बना रही है।
यह दुखद घटना 3 अक्टूबर को बोपदेव घाट पर हुई, जहाँ एक कॉलेज छात्रा और उसकी सहेली पर कुछ लोगों ने बेरहमी से हमला किया। लड़की के साथ यौन उत्पीड़न किया गया, जबकि हमलावरों ने उन्हें कोयता नामक धारदार हथियार से धमकाया। पुलिस ने कोंढवा के पास येओलेवाड़ी इलाके से एक संदिग्ध, 25 वर्षीय व्यक्ति को गिरफ्तार किया और उसे शनिवार को अदालत में पेश किया गया।
सहायक लोक अभियोजक अधिवक्ता विजयसिंह जाधव ने मामले की गंभीरता पर प्रकाश डाला और गहन जांच की आवश्यकता पर बल दिया, जिसमें मेडिकल परीक्षण और डीएनए विश्लेषण शामिल है। पुलिस अपराध में इस्तेमाल की गई गाड़ी और अन्य सामान भी बरामद करने की कोशिश कर रही है, जिसमें पीड़ित से दबाव में छीनी गई सोने की चेन भी शामिल है।
एक संदिग्ध हिरासत में है, जबकि अन्य दो अभी भी फरार हैं। फरार साथियों की पहचान करने में गिरफ्तार व्यक्ति की भूमिका महत्वपूर्ण है। अधिवक्ता जाधव ने शेष संदिग्धों का पता लगाने और अतिरिक्त सबूत जुटाने के लिए पुलिस हिरासत बढ़ाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
तीनों संदिग्ध मूल रूप से मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं और कथित तौर पर डकैती करने के इरादे से पुणे आए थे। उन्होंने कथित तौर पर अपने फोन बंद कर दिए, शराब पी और अलग-थलग पड़े पीड़ितों को निशाना बनाने की योजना बनाई। जब उन्होंने बोपदेव घाट पर कॉलेज के छात्रों को अकेला देखा, तो उन्होंने हिंसक हमला किया, पीड़ितों पर शारीरिक हमला किया और जघन्य अपराध को अंजाम दिया।
अदालत के इस फैसले से पुलिस को अपनी जांच जारी रखने तथा शेष संदिग्धों की तलाश तेज करने के लिए और अधिक समय मिल गया है, जिससे मामले का शीघ्र समाधान हो सकेगा।
रिपोर्टर: मुबारक अंसारी